जाता हुआ मानसून किसानों को दे गया कहीं खुशी तो कहीं गम

खाचरोद /उज्जैन –मनोज जोगदिय

खाचरोद के साथ साथ सहित ग्रामीण क्षेत्र भी तरबतर

 

खाचरोद —    मौसम एक बार फिर मध्य प्रदेश से जाने के पहले एक बार फिर बारिश कर रहा है। दशहरे के दूसरे दिन खाचरोद के ग्रामीण इलाकों में झमाझम बारिश का दौर चालू रहा। गुरुवार को दोपहर बाद तेज़ बारिश शुरू हो गई। कुम्हार वाड़ी पचलासी पाडसूतीया नावटीया में।

देर शाम को भी हवा और बिजली की चमक के साथ तेज बारिश का दौर जारी रहा किसानों के खेत पानी से लबालब भरा गए उदेश पाटीदार बंसीलाल मांगीलाल जितेन विनोद नेमीचंद किसानों ने बताया पचलासी पाडसूतीया नावटीया व आसपास के गांव के किसानों ने करीबन 1500 बीघा मटर फली की बुवाई हो गई है।

बरसात के कारण मटर की करीब 30 प्रतिशत खेती नष्ट हो गई है। बरसात ऐसे ही जारी रही तो आने वाले दिनों में नुकसान और हो सकता है। मटर की फसल में सबसे ज्यादा रोग भारी बरसात के कारण लगते हैं। कृषि विशेषज्ञों के मुताबिक मटर की फसल में गोबर की सही मात्रा न मिलने से सड़न रोग का खतरा ज्यादा रहता है। बरसात में यह रोग और ज्यादा सक्रिय हो जाता है। बरसाती मटर में चित्री रोग लगने का भी खतरा रहता है। विशेषज्ञ ने किसानों को सलाह दी है। कि वह खेतों में पानी खड़ा न होने दें।वही यह बारिश गेहूं लहसुन चना तारामीरा रावा बोने वाले किसानों के लिए फायदेमंद है।

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